Nirankari Sampuran Hardev Vani in Hindi
( निरंकारी सम्पूर्ण हरदेव वाणी हिंदी में )
Verse : 1
तू ही पिता है तू ही माता नित नित तुझको नमन करूं।
तू ही है बन्धु तू ही भ्राता नित नित तुझको नमन करूं।
हे जग कर्ता भाग्य विधाता नित नित तुझको नमन करूं।
हे सुख सागर आनंद दाता नित नित तुझको नमन करूं।
निरंकार है सबसे बड़ा तू नित नित तुझको नमन करूं।
पल छिन मेरे साथ खड़ा तू नित नित तुझको नमन करूं।
मैं मछली का तू सागर है नित नित तुझको नमन करूं।
जुदा न होता तू पल भर है नित नित तुझको नमन करूं।
तू ही समाया है अंग संग में नित नित तुझको नमन करूं।
रंग जाऊं तेरे ही रंग में नित नित तुझको नमन करूं।
जित जाऊं उत तुझे ही पाऊं नित नित तुझको नमन करूं।
गुण ‘हरदेव’ तेरे ही गाऊं नित नित तुझको नमन करूं।
All Verse Sampuran Hardev Vani in Hindi
( सभी श्लोक संपूर्ण हरदेव वाणी हिंदी में )
Verse : 0 हे अविनाशी परम प्रकाशी हे निर्गुण निरंकार।
Verse : 1 तू ही पिता है तू ही माता नित नित तुझको नमन करूं ।
Verse : 2 सबका साक्षी सर्व आधारा तू निर्गुण निरंकार है ।
Verse : 3 तू जल में है तू थल में है कण कण में है एक तू ही ।
Verse : 4 हे निर्गुण न्यारे तेरे ही आसरे जग सारा है ।
Verse : 5 साहिब तू बेअन्त है तेरा अन्त कोई क्या पायेगा ।
Verse : 6 कण कण वासी सर्व निवासी नाम तेरा निरंकार है ।
Verse : 7 हे सर्वज्ञ कोई भी तेरा पा नहीं सकता पार है ।
Verse : 8 हे निर्गुण हे नित्य निरंजन सब में है भरपूर तू ही ।
Verse : 9 तू पूरन है तेरा सारा इन्तजाम भी पूरन है ।
Verse : 10 मालिक खालिक कुल सृष्टि का जग का सृजनहार तू ।